Homeप्रमुख समाचार‎5 हजार से अधिक हिंदुओं का धर्मांतरण,...

5 हजार से अधिक हिंदुओं का धर्मांतरण, 2 हजार से ज्यादा हिंदू लड़कियां शिकार… छांगुर पीर के धर्मांतरण जिहाद की खौफनाक कहानी

उत्तर प्रदेश में एक संगठित और खतरनाक अवैध धर्मांतरण रैकेट का पर्दाफाश हुआ है, जिसका मास्टरमाइंड जलालुद्दीन उर्फ छांगुर पीर है। बलरामपुर के मधुपुर गांव में संचालित इस आपराधिक नेटवर्क ने न केवल हिंदुओं को जबरन धर्मांतरण के लिए मजबूर किया, बल्कि उनकी संपत्ति हड़पने, लव जिहाद को बढ़ावा देने, और सरकारी जमीनों पर कब्जा करने जैसे जघन्य अपराधों को अंजाम दिया। उत्तर प्रदेश एटीएस, पुलिस, और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की संयुक्त कार्रवाई ने इस साजिश की परतें उजागर की हैं, जिसमें विदेशी फंडिंग, माफिया कनेक्शन, और ईसाई मिशनरियों के साथ गठजोड़ के चौंकाने वाले तथ्य सामने आए हैं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मामले को राष्ट्र विरोधी गतिविधि करार देते हुए सख्त कार्रवाई के आदेश दिए हैं। छांगुर पीर और उसके सहयोगियों की अवैध संपत्तियों पर बुलडोजर चलाया गया है, और उनके बैंक खातों की जांच में ₹100 करोड़ से अधिक की विदेशी फंडिंग का खुलासा हुआ है। यह रैकेट केवल धर्मांतरण तक सीमित नहीं था, बल्कि यह सामाजिक समरसता को नष्ट करने और देश की सुरक्षा के लिए खतरा बन चुका था।

छांगुर पीर: एक फेरीवाले से अपराधी सरगना तक

जलालुद्दीन उर्फ छांगुर पीर, जो पहले एक साधारण फेरीवाला था, गांव-गांव जाकर कपड़े और नकली आभूषण बेचता था। 2020 के कोरोना काल में उसकी मुलाकात मुंबई के एक धनाढ्य सिंधी परिवार, नवीन घनश्याम रोहरा और उनकी पत्नी नीतू रोहरा से हुई। इस परिवार की ₹158 करोड़ की संपत्ति को हड़पने के लिए छांगुर ने पहले उनका ब्रेनवॉश किया। नवीन और नीतू, जिन्हें बाद में नसरीन नाम दिया गया, छांगुर के गैंग का हिस्सा बन गए। इस संपत्ति ने छांगुर को आर्थिक ताकत दी, जिसके बल पर उसने बलरामपुर में एक संगठित धर्मांतरण नेटवर्क स्थापित किया।

छांगुर ने खुद को ‘हाजी पीर जलालुद्दीन’, ‘पीर बाबा’, और ‘हजरत पीर’ के नाम से प्रचारित किया, ताकि वह गरीब और अशिक्षित लोगों के बीच आस्था का केंद्र बन सके। उसने न केवल हिंदुओं को बल्कि कुछ मुस्लिम युवाओं को भी अपने गैंग में शामिल किया, जो उसके लिए लव जिहाद और धर्मांतरण के कार्यों को अंजाम देते थे।

संगठित गैंग और इसकी कार्यप्रणाली

छांगुर पीर का गैंग अत्यंत सुनियोजित और संगठित था। इस गैंग में उसके बेटे महबूब, भतीजे सबरोज, साले के बेटे शहाबुद्दीन, गोंडा के रिश्तेदार रमजान, और बलरामपुर के रसीद जैसे लोग शामिल थे। इसके अलावा, नीतू रोहरा उर्फ नसरीन और नवीन रोहरा इस गैंग के प्रमुख सदस्य थे। नसरीन गैंग की वित्तीय गतिविधियों का हिसाब-किताब रखती थी और स्मार्टफोन का उपयोग कर धर्मांतरण की योजनाओं को अंजाम देती थी, जबकि छांगुर कीपैड मोबाइल का इस्तेमाल करता था ताकि उसकी गतिविधियां आसानी से ट्रैक न हो सकें।

यह नेटवर्क पूरे भारत में फैला हुआ था, जिसमें लखनऊ, औरैया, बलरामपुर, गोंडा, और नेपाल सीमा से सटे सात जिलों में सक्रियता थी। गैंग के सदस्य हिंदुओं को निशाना बनाने के लिए कई घृणित तरीके अपनाते थे।

धर्मांतरण के तरीके

  1. लव जिहाद और प्रेमजाल: गैंग के मुस्लिम युवक हिंदू लड़कियों को ‘अमित’, ‘रुद्र शर्मा’ जैसे हिंदू नामों से प्रेमजाल में फंसाते थे। एक बार संबंध स्थापित होने पर, लड़कियों को दरगाह ले जाकर ब्रेनवॉश किया जाता और उनका धर्मांतरण करवाकर निकाह किया जाता। उदाहरण के तौर पर, लखनऊ की गुंजा गुप्ता को ‘अमित’ नाम के एक युवक ने प्रेमजाल में फंसाया और उसे दरगाह ले जाकर अलीना अंसारी बना दिया। इसी तरह, औरैया की एक लड़की को मेराज अंसारी ने ‘रुद्र शर्मा’ बनकर फंसाया और धर्मांतरण की कोशिश की।

  2. लालच और धमकी: छांगुर और उसके गुर्गे गरीब, असहाय, और दलित समुदायों को निशाना बनाते थे। उन्हें विदेश में नौकरी, बंगले, और लग्जरी गाड़ियों का लालच दिया जाता था। जो लोग इन लालचों में नहीं फंसते थे, उन्हें धमकियां दी जाती थीं या झूठे मुकदमों में फंसाने की धमकी दी जाती थी। बलरामपुर की मालती देवी ने जब धर्मांतरण से इनकार किया, तो छांगुर ने उन पर चोरी का झूठा आरोप लगाकर पुलिस में शिकायत दर्ज कराई।

  3. ब्रेनवॉश और प्रचार: छांगुर ने ‘शिजर-ए-तैयबा’ नामक एक किताब छपवाई, जिसमें ब्रेनवॉश करने की तकनीकों का उल्लेख था। यह किताब इस्लाम का प्रचार करती थी और लोगों को धर्मांतरण के लिए उकसाती थी। गैंग के सदस्य इस किताब का उपयोग गरीब और अशिक्षित लोगों को प्रभावित करने के लिए करते थे।

  4. जाति के अनुसार फीस: धर्मांतरण के लिए छांगुर ने एक घृणित मूल्य प्रणाली बनाई थी। ब्राह्मण, क्षत्रिय, और सरदार लड़कियों के लिए ₹15-16 लाख, पिछड़ी जाति की लड़कियों के लिए ₹10-12 लाख, और अन्य जातियों के लिए ₹8-10 लाख की राशि तय की गई थी। यह राशि विदेशी फंडिंग से प्राप्त होती थी।

  5. कोडवर्ड्स का उपयोग: छांगुर अपने अवैध कार्यों को छिपाने के लिए कोडवर्ड्स का उपयोग करता था। उदाहरण के लिए, लड़कियों को फंसाने को ‘प्रोजेक्ट’, धर्मांतरण को ‘मिट्टी पलटना’, किसी से मिलने को ‘दीदार करना’, और ब्रेनवॉश करने को ‘काजल करना’ कहा जाता था। ये कोडवर्ड्स गैंग की गतिविधियों को गुप्त रखने में मदद करते थे।

विदेशी फंडिंग और माफिया कनेक्शन

यूपी एटीएस की जांच में सामने आया कि छांगुर पीर को खाड़ी देशों और पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई से ₹100 करोड़ से अधिक की फंडिंग प्राप्त हुई थी। यह राशि ‘मिशन आबाद’ के तहत धर्मांतरण और अन्य अवैध गतिविधियों के लिए दी गई थी। गैंग के 40 से अधिक बैंक खातों में बड़े पैमाने पर लेन-देन दर्ज किया गया। इन खातों को ‘आस्वी इंटरप्राइजेज’, ‘आस्वी चैरिटेबल ट्रस्ट’, ‘आसिपिया हसनी हुसैनी कलेक्शन’, और ‘बाबा ताजुद्दीन आस्वी बुटीक’ जैसे संगठनों के नाम पर खोला गया था।

छांगुर का माफिया मुख्तार अंसारी के गैंग से भी संबंध था। उसके सहयोगी मोहम्मद अहमद खान ने खुलासा किया कि छांगुर मुख्तार की मदद से धर्मांतरण और अवैध जमीन कब्जे का काम करता था। इसके अलावा, छांगुर ने नेपाल सीमा से सटे सात जिलों में ईसाई मिशनरियों के साथ मिलकर गरीब परिवारों को निशाना बनाया। ये मिशनरी वॉलंटियरों से जानकारी लेकर छांगुर को उपलब्ध कराते थे।

अवैध संपत्ति और जमीन हड़पने की साजिश

छांगुर ने न केवल धर्मांतरण बल्कि सरकारी और निजी जमीनों पर कब्जा करने का भी गोरखधंधा चलाया। बलरामपुर के कुंडवा तालाब को अवैध रूप से भरवाकर उसने उस पर प्लॉट बनाए और बेच दिए। उसकी पुणे में ₹16 करोड़ की संपत्ति भी सामने आई, जो मोहम्मद अहमद खान के नाम पर रजिस्टर थी। इसके अलावा, छांगुर और उसके सहयोगियों ने लग्जरी गाड़ियां, बंगले, और शोरूम खरीदे, जो विदेशी फंडिंग से प्राप्त धन से संभव हुआ।

पीड़ितों की कहानियां

छांगुर पीर के गैंग ने हजारों हिंदुओं को धर्मांतरण का शिकार बनाया। कुछ प्रमुख मामले इस प्रकार हैं:

  1. सिंधी परिवार का धर्मांतरण: मुंबई के नवीन घनश्याम रोहरा, उनकी पत्नी नीतू, और बेटी को छांगुर ने ब्रेनवॉश कर इस्लाम कबूल करवाया। नवीन का नाम जलालुद्दीन, नीतू का नसरीन, और उनकी बेटी का सबीहा रखा गया। इस परिवार की ₹158 करोड़ की संपत्ति हड़पकर छांगुर ने अपने नेटवर्क को मजबूत किया।

  2. दलित व्यक्ति का मामला: 2022 में एक दलित व्यक्ति ने छांगुर पर आरोप लगाया कि उसने मजदूरी मांगने पर इस्लाम कबूल करने को कहा और मना करने पर धमकियां दीं।

  3. मालती देवी का मामला: मालती ने जब धर्मांतरण से इनकार किया, तो छांगुर ने उन पर चोरी का झूठा आरोप लगाकर पुलिस में शिकायत दर्ज कराई।

  4. लखनऊ में 12 लोगों की घर वापसी: लखनऊ में मंडवी शर्मा (जैनब), सोनू रानी, मालती, रीना, पल्लवी, और हरजीत कश्यप जैसे 12 लोगों की घर वापसी कराई गई। हरजीत ने बताया कि छांगुर ने नागपुर में नौकरी का झांसा देकर उनका धर्मांतरण कराया और विरोध करने पर दो झूठे मुकदमे दर्ज कराए।

यूपी सरकार और एटीएस की कार्रवाई

यूपी एटीएस ने छांगुर पीर और उसकी सहयोगी नसरीन को लखनऊ के एक होटल से गिरफ्तार किया, जहां वे 70 दिनों से मियां-बीवी बनकर रह रहे थे। छांगुर की बलरामपुर स्थित अवैध कोठी पर बुलडोजर चलाया गया, क्योंकि यह सरकारी जमीन पर बनी थी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए सभी आरोपियों की संपत्तियां जब्त करने और सख्त कानूनी कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं।

ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया और 30 से अधिक बैंक खातों की जांच शुरू की। छांगुर और उसके सहयोगियों की 2014 से 2020 के बीच 19 बार यूएई यात्राओं की भी जांच हो रही है। एटीएस ने गैंग के 14 अन्य सदस्यों की तलाश तेज कर दी है, जो अभी फरार हैं।

मुख्यमंत्री का सख्त रुख

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने छांगुर पीर की गतिविधियों को ‘राष्ट्र विरोधी’ करार देते हुए कहा, “ऐसे तत्व जो हमारी सांस्कृतिक और धार्मिक एकता को नष्ट करने की साजिश रच रहे हैं, उनके खिलाफ कोई नरमी नहीं बरती जाएगी। उनकी संपत्तियां जब्त की जाएंगी, और कानून अपना काम करेगा।” उन्होंने प्रशासन को निर्देश दिए कि इस तरह के नेटवर्क को जड़ से उखाड़ फेंका जाए।

सामाजिक और राष्ट्रीय खतरा

छांगुर पीर का रैकेट केवल धर्मांतरण तक सीमित नहीं था। यह सामाजिक समरसता को तोड़ने, हिंदू आस्था को नष्ट करने, और देश की आंतरिक सुरक्षा को कमजोर करने की साजिश का हिस्सा था। विदेशी फंडिंग, माफिया कनेक्शन, और ईसाई मिशनरियों के साथ गठजोड़ इस नेटवर्क की गंभीरता को दर्शाते हैं। यूपी एटीएस और ईडी की जांच में हर दिन नए खुलासे हो रहे हैं, जो इस साजिश की गहराई को उजागर कर रहे हैं। छांगुर पीर 5 हजार से अधिक हिंदुओं का धर्मांतरण कर चुका हैं, जिसमें 2 हजार से अधिक लड़कियां हैं।

Latest news
Related news

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here